madhubani:मंडलकारा में दिया गया योग प्रशिक्षण

    मधुबनी | भारतीयसंस्कृति योग प्रधान है। गीता संपूर्ण योग में ग्रंथ है। इसमें ज्ञान योग, भक्ति योग, कर्म योग, निस्काय योग, ध्यान योग आदि का विस्तृत विवरण है। गीता के अतिरिक्त विभिन्न उपनिषद और वेदों में भी योग वर्णन है। भारतीय सूफीमत, बौद्ध, जैन, जापान चीन के पुराने साहित्यों में भी योग है। पतंजलि प्रणीत योग का प्रामाणिक सूत्र है। ये बातें मिथिला प्राकृतिक चिकित्सा एवं शोध संस्था के प्रशिक्षक डाॅ. उमेश कुमार उषाकर ने कही। वे मंडल कारा, रामपट्टी में 740 कैदियों के बीच अंतरराष्ट्रीय योग दिवस की पूर्व तैयारी को काॅमन एवं प्रोटोकॉल का पूर्वाभ्यास करा रहे थे। मंडल कारा अधीक्षक सिप्रियन टोपो ने कहा कि याेग को नियमित सुबह में करने से ज्यादा लाभ मिलता है। वहीं कारा उपाधीक्षक संजीव कुमार ने बताया कि योग मानसिक स्थिरता के लिए आवश्यक है।

    Leave a Reply

    Your email address will not be published. Required fields are marked *